Wednesday, 3 May 2017

प्यार एक मंन्दिर हैं













मेरा प्यार एक मंन्दिर हैं, 
उसकी मूरत हो तुम,
कैसे मै तुम्हे भूला दूँ,
मेरे जीने की सूरत हो तुम,
फूल तुम्हारी बगिया में,
कोई दूजा ना खिलेगा,
ढूढ लेना दुनिया में,
प्यार मुझसा ना मिलेगा,
तोडा दिल उसके लिए,
जो पहले से परखा
और पहचाना था ,
भूल गयी मुझे ही तुम ,
जो एक सिर्फ तेरा दिवाना हैं,
तुम्हे पाने को बेकरार,
प्यार की शुरुवात हो तुम,
कैसे मै तुम्हे भूला दूँ,
मेरे जीने की सूरत हो तु
म,

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